बोकारो जिले के कसमार प्रखंड में महादेव बेड़ा (शिवालय) में भगता परब (चड़क पूजा) धूमधाम से हुई. कई गांवों के लोग यहां जुटे. दिन भर श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा. इस शिवलिंग के प्रति जन-आस्था को देखते हुए 1980 के दशक में यहां भगता परब मनाने की शुरुआत की गयी.
बोकारो जिले के कसमार प्रखंड के हिसीम पहाड़ स्थित महादेव बेड़ा (शिवालय) में भगता परब (चड़क पूजा) धूमधाम से मनाया गया. इस अवसर पर पूजा-अर्चना के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी. दिनभर श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा. सुप्रसिद्ध सिंहपुर शिवालय में यह पर्व संपन्न होने के चार दिन बाद, यानी बांगला बैशाख माह की चौथी तारीख को यहां भगता परब मनाने की परंपरा है. हिसीम पहाड़ स्थित चारों गांवों (हिसीम, केदला, त्रियोनाला व गुमनजारा) के ग्रामीण संयुक्त रूप से इसे मनाते हैं
भगता परब से पहले लोगों ने मनाया संजोत
शुक्रवार को भगता परब से पहले गुरुवार को लोगों ने संजोत मनाया. ग्रामीणों ने बताया कि यह शिवलिंग काफी प्राचीन है. शुरुआती दिनों में किसी पंडित-पुजारी की बजाय हिसीम के कार्तिक महतो एवं खुदीबेड़ा के भागी महतो इसमें पुजारी की भूमिका निभाते थे. इस शिवलिंग के प्रति जन-आस्था को देखते हुए 1980 के दशक में यहां भगता परब मनाने की शुरुआत की गयी. शुरुआत में मात्र 5 भक्तिया ने इसकी शुरुआत की थी. अब यह व्यापक रूप ले चुका है. इस अवसर पर बकरा बलि की भी प्रथा है. शनिवार को बलि होगी.
मंदिर का किया जा रहा है निर्माण
हिसीम पहाड़ की चढ़ाई खत्म होने के साथ ही बायीं ओर सड़क किनारे महादेव बेड़ा मौजूद है. प्रारंभ से यहां शिवलिंग खुले आसमान में स्थापित है. केवल तीन-चार फुट ऊंची दीवार बनी है. उसे तोड़कर उसकी जगह मंदिर का निर्माण किया जा रहा है. लिंटर तक काम हो चुका है. आनंद कुमार महतो, दिलीप कुमार महतो व अन्य ने बताया के इस मंदिर के प्रति पहाड़ पर बसे चारों गांवों के ग्रामीणों की विशेष आस्था है. सभी के सहयोग से मंदिर बनाया जा रहा है. जल्द ही आकर्षक मंदिर का निर्माण पूरा हो जाएगा. शिवलिंग के बगल में पेड़ के नीचे विशाल चबूतरे का निर्माण भी कर लिया गया है.
ये लोग रहे मौजूद
मौके पर पूजा समिति के संयोजक दिलीप कुमार हेंब्रम, फणींद्र मुंडा, आनंद कुमार महतो, दिलीप कुमार महतो, सुनील कुमार महतो, समर महतो, अध्यक्ष बसंत कुमार, सचिव नितेश करमाली, कोषाध्यक्ष रवींद्र कुमार महतो, संरक्षक संतोष कुमार, अशोक कुमार, राजेश टुडू, कमलेश महतो, तारा चंद महतो, प्रमोद कुमार, विकास कुमार महतो, वीरेंद्र कुमार, चंडी चरण, संजीत, सुशील कुमार, रवींद्र कुमार, संदीप कुमार, निताय कुमार, मिथलेश कुमार, उपेंद्र कुमार, नितेश टुडू, श्यामसुंदर कुमार व अन्य मौजूद थे.
