रांची विश्वविद्यालय की टीम ने सिमडेगा कॉलेज के खाते से 32 लाख रुपये की अवैध निकासी की जांच की। बैंक अधिकारियों से जानकारी प्राप्त की गई। क्लोन चेक के माध्यम से पैसों की निकासी की गई है। विश्वविद्यालय प्रशासन खाते में पैसे वापस लाने के लिए कार्रवाई कर रहा है। वहीं शुरुआती जांच में मामला साइबर क्राइम से जुड़ा लग रहा है
रांची विश्वविद्यालय के सिमडेगा कॉलेज के बैंक ऑफ इंडिया के बैंक खाते से क्लोन चेक से करीब 32 लाख रुपये की निकासी का मामला सामने के बाद विवि की तीन सदस्यीय टीम सिमडेगा कॉलेज पहुंची और पूरे मामले की गहनता से जांच पड़ताल की। वहीं, प्रभारी प्रचार्य द्वारा साइबर ठगी की आशंका जताई गई है।
रांची विवि टीम ने की जांच
टीम ने एकाउंट के खाते से मिलान करते हुए निर्गत चेक के बारे में भी जानकारी ली। इसके बाद टीम ने बैंक में जाकर अधिकारियों से मिलकर मामले की जानकारी ली। रांची विवि की टीम ने मामले की जांच करते हुए बैंक खाते में रुपये की वापसी के लिए उचित कार्रवाई की मांग की।
टीम में रांची विवि के फाइनेंस एडवाइजर अजय कुमार, फाइनेंस ऑफिसर दिलीप प्रसाद एवं एक अन्य शामिल थे। सिमडेगा कॉलेज के प्रभारी प्राचार्य देवराज प्रसाद ने बताया कि सिमडेगा कॉलेज से संबंधित बैंक खाते का संचालन रांची विवि ही करता है।
32 लाख की अवैध निकासी
उन्होंने बताया कि बैंक ऑफ इंडिया ने ही 15 मई को सूचना दी कि सिमडेगा कॉलेज के बैंक खाते से 27 अप्रैल से एक मई के बीच में करीब 32 लाख रुपये की निकासी की गई है, जिसके बाद रांची विवि के रजिस्ट्रार को पूरी सूचना देते हुए बैंक अधिकारी से मामले की जांच की।
इसके साथ ही खाते में रुपये वापसी करने की दिशा में आवश्यक कार्रवाई करने का आग्रह किया। डॉ. देवराज ने बताया कि यह साइबर ठगी का ही मामला लग रहा है। अब रांची विवि प्रशासन और बैंक के अधिकारी मामले की पूरी जांच कर रहे हैं।