देश में इस समय महाकुंभ का योग है. इसमें श्रद्धालुओं के साथ-साथ तमाम बड़ी हस्तियां पहुंच रही हैं. इस बीच खबर है कि राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह संगम में पवित्र डुबकी लगाएंगे.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 10 फरवरी को प्रयागराज पहुंचेंगी. इसके साथ ही उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के बारे में कहा जा रहा है कि उनका एक फरवरी को संगम में डुबकी लगाने का कार्यक्रम है. इसे लेकर प्रशासन अभी तैयारी शुरू कर दी है.
इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अगले महीने की पांच तारीख को महाकुंभ में पहुंचने की खबर है. हालांकि, इन सभी के दौरे को लेकर आधिकारिक रूप से कोई घोषणा नहीं की गई है. पीएम मोदी की इस संभावित यात्रा के दौरान कई महत्वपूर्ण योजनाओं की समीक्षा और कार्यक्रमों में शामिल होने की उम्मीद है. कहा जा रहा है कि उनके इस दौरे के लेकर कार्यक्रम भी तय किया जा चुके हैं.
पीएम मोदी इससे पहले 13 दिसंबर को प्रयागराज आए थे और महाकुंभ की तैयारियों का जायजा लिया था. अपनी इस यात्रा के दौरान कई बड़ी परियोजनाओ का लोकार्पण भी किया था. पीएम मोदी महाकुंभ को लेकर काफी संजीदा हैं.
वह कई मंचों पर इस पावन अवसर का जिक्र कर चुके हैं. उन्होंने पिछले दिनों अपने चर्चित रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ में भी इसका जिक्र किया था. वहीं, गृह मंत्री अमित शाह के बार में चर्चा है कि वह 27 फरवरी को महाकुंभ का दौरा करेंगे.
पंडित नेहरू के महाकुंभ में पहुंचने पर मची थी भगदड़
महाकुंभ में भगदड़ को लेकर चर्चा गरम हो गई है. दरअसल वर्ष 1954 के महाकुंभ में तत्कालीन प्रधानंत्री पंडित नेहरू पहुंचे थे. मेले में पहुंचने के बाद अचानक वहां भगदड़ मची गई थी. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार पंडित नेहरू के मेले में पहुंचने पर पूरा शासन व्यवस्था और सुरक्षा तंत्र उनकी हिफाजत में लग गया था. तभी भगदड़ मची जिसे काबू में नहीं किया जा सका और नतीजतन 1000 से अधिक श्रद्धालुओं की कुचलने से मौत हो गई थी. इस घटना के बाद से महाकुंभ के दौरान वीवीआईपी मूवमेंट बंद हो गया. अब जब फिर से पीएम मोदी और अन्य बड़े नेता वहां पहुंच रहे हैं तो शासन व्यवस्था को लेकर चर्चा शुरू हो गई है.