गुवाहाटी: असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने एक बार फिर कांग्रेस नेता राहुल गांधी और असम कांग्रेस अध्यक्ष गौरव गोगोई पर निशाना साधकर राजनीतिक तूफान खड़ा कर दिया है. बुधवार को एक प्रेस ब्रीफिंग में सरमा ने कांग्रेस पार्टी पर तीखा हमला करते हुए दावा किया कि ‘राहुल गांधी को वोट देना पाकिस्तान को वोट देने के बराबर है.’
मुख्यमंत्री की यह टिप्पणी असम की राजनीति में गौरव गोगोई के फिर से उभरने के बाद एक रणनीतिक राजनीतिक बदलाव का संकेत देती है. गोगोई ने हाल ही में राज्य कांग्रेस में सक्रिय नेतृत्व की जिम्मेदारी संभाली है और 31 मई से ब्रह्मपुत्र और बराक घाटियों में बड़े पैमाने पर पार्टी को संगठित करना शुरू कर दिया है.
मीडिया के एक सवाल के जवाब में सरमा ने आरोप लगाया कि राहुल गांधी और उनकी पार्टी ने दोनों देशों के बीच युद्ध के दौरान पाकिस्तान का साथ दिया. राहुल गांधी का रिकॉर्ड देखिए. जब भारत पाकिस्तान के साथ युद्ध हो रहा था तो उन्होंने किसका समर्थन किया? उनकी पार्टी ने किसकी मदद की?
उन्होंने कहा, ‘असम के लोग अज्ञानी नहीं हैं. वे क्षेत्रीय और राष्ट्रीय दोनों तरह के समाचार चैनल देखते हैं. व्यापक भारतीय राजनीतिक संदर्भ में राहुल गांधी को वोट देना पाकिस्तान को वोट देने के समान है. कांग्रेस नेतृत्व स्पष्ट रूप से पाकिस्तान समर्थक है.’
गौरव गोगोई ने हाल ही में एक बयान में दावा किया था कि उनके और मुख्यमंत्री के बीच ‘बहुत बड़ा अंतर’ है. उन्होंने सरमा पर हिंदू-मुस्लिम ध्रुवीकरण की राजनीति में लिप्त होने का आरोप लगाया. मुख्यमंत्री ने नवनियुक्त राज्य कांग्रेस प्रमुख पर भी जमकर निशाना साधा.
सरमा ने कहा, ‘हां, मेरे और गौरव गोगोई में बहुत अंतर है. मेरे परिवार में कोई विदेशी नहीं है. मैंने संघर्ष करके अपनी राजनीतिक स्थिति हासिल की है. मेरे पिता मुख्यमंत्री नहीं थे. मेरे मुंह में चांदी का चम्मच नहीं था.’
सरमा ने असम कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष भूपेन बोरा पर भी कटाक्ष करते हुए कहा, ‘अप्रैल तक भूपेन बोरा को कई अपमानों का सामना करना पड़ेगा.’ इस बात की राजनीतिक अटकलें लगाई जा रही हैं कि बोरा जल्द ही भाजपा में शामिल हो सकते हैं, हालांकि बोरा ने खुद इन दावों का खंडन किया है.
सीएम ने अफवाहों को और हवा देते हुए कहा, ‘भूपेन बोरा भाजपा में शामिल होते हैं या नहीं, यह उनका फैसला है. मैं उनसे बात नहीं करता. लेकिन मेरी बात पर ध्यान दें- उन्हें अगले अप्रैल तक बार-बार अपमानित किया जाएगा.’
एक नाटकीय खुलासे में सरमा ने संकेत दिया कि राहुल गांधी के आवास पर हुई गोपनीय चर्चाओं तक उनकी पहुंच थी. मुझे यह भी पता है कि राहुल गांधी के घर में हाल ही में हुई बैठक में क्या चर्चा हुई थी. अगर आप चाहें तो मैं हर बात को एक-एक करके दोहरा सकता हूं. मैं यह नहीं कहूंगा, क्योंकि इससे उन लोगों की पोल खुल सकती है जो वहां मौजूद थे. लेकिन हां, कांग्रेस कमेटी के अंदर के लोग मुझे जानकारी देते रहते हैं. उस घर में कुछ लोग मुझे पसंद करते हैं.’
हिमंत बिस्वा सरमा की टिप्पणी असम में कांग्रेस पार्टी के साथ उनकी निरंतर वैचारिक लड़ाई का प्रदर्शन है. जैसे-जैसे राजनीतिक तापमान बढ़ता है और दोनों पक्ष अपनी बयानबाजी को बढ़ाते हैं, यह स्पष्ट है कि अगले चुनावों की ओर बढ़ते हुए व्यक्तिगत और ध्रुवीकरणकारी हमले बढ़ेंगे.